

योग हमारे जीवन में एक बेहद मह्त्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। वैसे तो बहुत सारे आसन और योग हैं जिनकी मदद से हम अपने शरीर को फिट रख सकते हैं। इस लेख में हम इन्हीं आसनों में से एक आसन, पवनमुक्तासन के बारे में पढ़ेंगे कि उससे हमें क्या लाभ होते हैं साथ ही साथ उसे करने की सही प्रक्रिया क्या है।
पवनमुक्तासन क्या है?
यह एक बहुत ही लाभप्रद आसन है और इससे पेट संबंधित परेशानियों से छुटकारा मिलता है। यह पेट की बढ़ी हुई चर्बी के लिए भी बहुत लाभदायक है। यहां तक कि अगर किसी स्त्री को गर्भाशय संबंधी रोग है तो यह आसन उसमें भी फायदेमंद है। इस आसन से कमर के नीचे के हिस्से में मौजूद तनाव भी दूर होता है।
पवनमुक्तासन की श्रृंखला
पवनमुक्तासन के प्रकार नहीं होते जबकि इस आसन को तीन प्रकार के समूहों में बांटा गया है। ये तीनों समूह अलग-अलग बिंदु पर केंद्रित हैं परन्तु ये एक दूसरे को पूरा करते हैं और पूरे शरीर में ऊर्जा के प्रवाह को बढ़ाते हैं। ये तीन समूह कुछ इस प्रकार हैं:
- श्रृंखला 1 : इसे जोड़ों की गतिविधियों के रूप में जाना जाता है।
- शृखंला 2 : यह पाचन तंत्र को मजबूत करने पर केंद्रित है।
- श्रृंखला 3 : यह न्यूरोमस्कुलर गाँठ को तोड़ने पर केंद्रित है साथ ही साथ यह शरीर के भीतर ऊर्जा का प्रवाह करता है।
पवनमुक्तासन के फायदे
पवनमुक्तासन से हमारे शरीर को बहुत फायदे मिलते हैं जो कुछ इस प्रकार हैं:
- यह हमारे शरीर के मसल्स और जोड़ों को ताकत देता है। साथ ही साथ चोट से भी बचाता है।
- यह हमारे पाचन तंत्र को सही रखने में मदद करता है।
- यह आसन किसी भी उम्र के लोग कर सकते हैं।
- यह आसन हमारे शरीर में ऊर्जा के प्रवाह में मदद करता है और हमारे शरीर को प्राणायाम के लिए तैयार करता है।
- यह आसन हमारे आंतरिक अंगों को सही से काम करने में मदद करता है।
- यह हमारे शरीर को स्वस्थ एवं मजबूत रखने में मदद करता है।
पवनमुक्तासन कितनी देर करना चाहिए?
कोई भी आसन करने से पहले हमारे लिए यह जानना ज़रूरी होता है कि हमें वो कितनी देर तक करना चाहिए जिससे हमें फायदा मिल सके। इस आसन का अभ्यास 4 बार करना चाहिए और हर श्रृंखला को करने में कम से कम 20 सेकंड का समय अवश्य लें। हमारे लिए यह जान लेना भी ज़रूरी है कि हमें पवनमुक्तासन कब करना चाहिए। पवनमुक्तासन के सबसे ज्यादा लाभ लेने के लिए हमें कोशिश करनी चाहिए कि इसे हम सुबह के समय में करें।
पवनमुक्तासन के नुकसान
अगर पवनमुक्तासन को सही तरीके से नहीं करा जाये तो वो हमें कुछ नुकसान पहुंचा सकता है। पवनमुक्तासन से होने वाले नुकसान कुछ इस प्रकार हैं:
- दर्द और चोट : अगर इस आसान को सही तरीके से न करा जाये तो हमे चोट या दर्द के खतरे रहते हैं।
- पाचन समस्या : यदि किसी के पेट में अलसर, हर्निया या फिर अन्य पाचन सम्बन्धी समस्या हो तो यह आसन हानिकारक हो सकता है।
- गर्भावस्था : गर्भवती महिला को यह आसन करने से बचना चाहिए क्योंकि इसकी कुछ श्रृंखलाएं नुकसानदेह हो सकती हैं।
- कमर दर्द : अगर किसी को कमर दर्द या उससे जुड़ी कोई बीमारी है तो उसे यह आसन करने से बचना चाहिए।
पवनमुक्तासन किस को नहीं करना चाहिए ?
पवनमुक्तासन वैसे तो बहुत फायदेमंद है मगर कुछ लोगों को यह आसन करने से बचना चाहिए और अगर वो ये आसान करते हैं तो उन्हें किसी कुशल प्रशिक्षिक के देख-रेख में करना चाहिए। निम्नलिखित लोगों को यह आसन करने से बचना चाहिए:
- कमर दर्द : जिन लोगों को कमर दर्द की शिकायत है उन्हें यह आसन करने से बचना चाहिए।
- घुटनो में दर्द : अगर किसी को घुटनों में दर्द है तो उन्हें यह आसन स्वस्थ होने के बाद ही करना चाहिए।
- हार्निया : अगर कोई व्यक्ति इस बीमारी से प्रभावित है तो उन्हें भी स्वस्थ होने के बाद यह योग करना चाहिए।
- मासिक धर्म : स्त्रियों को यह आसान मासिक धर्म के समय करने से बचना चाहिए।
निष्कर्ष
पवनमुक्तासन हमारे शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद आसन है। यह आसन अपने शरीर से वो गैस बाहर निकलने में मदद करता है जो आंतो में रुक गयी हो। यह आसन किसी भी उम्र के लोग कर सकते हैं।अगर हम इस आसन से ज्यादा से जयादा फायदे लेना चाहते हैं तो यह आसन हमें किसी प्रशिक्षिक की निगरानी में सावधानी के साथ करने चाहिए। इस आसन को करने का सबसे सही समय सुबह का है और इसका अभ्यास हमें 4 बार करना चाहिए।